भारतीय गुणवत्ता प्रबंधन क्षेत्र में अनेक गुरुओं ने अपनी अमूल्य योगदान दिया है, जिनकी शिक्षाओं और विचारों ने न केवल भारत में बल्कि विश्व स्तर पर भी गुणवत्ता प्रबंधन की दिशा और दशा को प्रभावित किया है। इन गुरुओं ने गुणवत्ता विज्ञान के सभी पहलुओं में अपनी गहराई और प्रगतिशील विचारों के साथ उद्योगों को नई दिशाओं में अग्रसर किया है। इनमें जनक मेहता, सुरेश लुल्ला, और अन्य प्रमुख नाम शामिल हैं, जिन्होंने गुणवत्ता प्रबंधन को नई दिशा और गति प्रदान की है।
जनक मेहता, जिन्हें भारत में टोटल क्वालिटी मैनेजमेंट (TQM) के प्रणेता के रूप में जाना जाता है, ने गुणवत्ता संबंधित विचारों को नए आयाम प्रदान किए। उनका मानना है कि गुणवत्ता सिर्फ एक प्रक्रिया या मानक नहीं है, बल्कि यह एक संस्कृति है जिसे हर संगठन को अपनाना चाहिए।
सुरेश लुल्ला भारतीय गुणवत्ता आंदोलन में एक जानी-मानी हस्ती हैं, जिन्होंने गुणवत्ता आश्वासन और निरंतर सुधार प्रक्रियाओं को प्रोत्साहित किया है।
इस ब्लॉग पोस्ट में हम उन भारतीय गुणवत्ता प्रबंधन गुरुओं का जिक्र कर रहे हैं जो भारत में कार्यरत हैं और उन्होंने अपने विशेष योगदान से इस क्षेत्र में नई ऊँचाइयों को छुआ है। हम जानते हैं कि भारतीय मूल के अनेक गुणवत्ता विशेषज्ञ जैसे कि प्रवीण गुप्ता ने विदेशों में जाकर भी इस क्षेत्र में महत्वपूर्ण काम किया है, परंतु इस पोस्ट में हम केवल उन गुरुओं का उल्लेख कर रहे हैं जिन्होंने भारत में रहकर गुणवत्ता प्रबंधन की दिशा और दशा में बदलाव लाया है।
इस ब्लॉग के माध्यम से हम भारतीय गुणवत्ता गुरुओं के योगदान को सम्मानित करते हैं।